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छतरपुर2 घंटे पहले

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छतरपुर में एक युवती के साथ गैंगरेप का सनसनीखेज मामला सामने आया है। युवती ने एक पुलिस आरक्षक सहित 9 लोगों पर अपहरण कर बंधक बनाकर गैंगरेप किए जाने का आरोप लगाया है। मामले में पुलिस ने 7 नामजद और 2 अज्ञात के खिलाफ गैंगरेप का केस दर्ज किया है।

युवती के अनुसार 25 अप्रैल को उसको रेलवे स्टेशन से आरोपियों ने कार से अगवा कर पहले कार में रेप किया और उसके बाद उसे बेहोश कर सभी आरोपियों ने सामूहिक दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया। मामले का खुलासा तब हुआ जब छतरपुर पुलिस को सूचना मिली की, नेशनल हाईवे के किनारे एक युवती बिना कपड़ों के बेहोश की हालत में पड़ी हुई है।

सूचना के बाद मौके पर पहुंची नौगांव पुलिस को मामला संदिग्ध नजर आया। मामला उत्तरप्रदेश के महोबा जिले के अजनर थाना की सीमा में आता है, इसलिए पुलिस ने यूपी पुलिस को भी सूचना दी। दोनों राज्यों की पुलिस ने युवती को इलाज के लिए छतरपुर जिले के नौगांव सामुदायिक अस्पताल में भर्ती कराया, जहां हालात गंभीर होने के कारण युवती को डॉक्टरों ने जिला अस्पताल रैफर कर दिया। गुरुवार को युवती को होश आया तो उसने पूरे घटनाक्रम से पुलिस को अवगत कराया।

एसपी अमित सांघी का कहना है कि मामले पर महिला का मेडिकल कराते हुए उसके बयानों के आधार पर एक पुलिस आरक्षक सहित 9 लोगों पर अपहरण करने बंधक बनाने और सामूहिक बलात्कार करने की धाराओं में केस दर्ज किया है। यह मामले की जांच महिला पुलिस थाना छतरपुर कर रही है। वहीं, मामला गंभीर होने के कारण एक टीम भी गठित की गई है जो मामले की जांच करेगी।

लड़की को जिला अस्पताल में भर्ती करवाया गया है।

लड़की को जिला अस्पताल में भर्ती करवाया गया है।

शरीर पर कपड़े नहीं, बेहोशी की हालत और खून से लथपथ
बुधवार सुबह करीब 9 बजे जैसे ही झांसी-खजुराहो फोरलेन पर अलीपुरा के समीप अशोकनगर चमऊआ पुरवा की ओर जाने वाली लिंक रोड पर बस से उतरी, एक महिला अपने गांव की ओर जा रही थी। उसे सड़क के किनारे बिना कपड़ों के एक बेहोश लड़की नजर आई। महिला ने तुरंत गांववालों को सूचना दी और लड़की के शरीर पर कपड़े डाले। गांव वाले मौके पर पहुंचे तो देखा लड़की के शरीर से खून बह रहा है। कई जगह चोट के निशान हैं और उसके साथ रेप होने जैसा भी प्रतीत हुआ। स्थानीय लोगों की सूचना के बाद धवर्रा चौकी प्रभारी रामकिशन यादव पुलिस फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे और फोरलेन पर मौजूद रहने वाली एनएचएआई की एंबुलेंस के माध्यम से तुरंत लड़की को नौगांव अस्पताल लाया गया।

नौगांव अस्पताल में बीएमओ डॉ. रविन्द्र पटेल ने मामले की गंभीरता को समझते हुए दो महिला चिकित्सकों डॉ. प्रियंका चौहान, डॉ. हर्षिता मिश्रा को मौके पर बुलाकर लड़की का उपचार शुरू किया और उसकी जांच कराई गई। प्राथमिक जांच में लड़की के साथ रेप की आशंका जाहिर की गई है। लड़की की हालत खराब होने के कारण उसे जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। लड़की उप्र के हरदोई जिले की रहने वाली है।

लड़की के साथ हुए इस जुल्म की खबर सामने आते ही मामले को लेकर यूपी पुलिस गंभीर हो गई है। महोबा जिले के धौर्रा चौकी क्षेत्र से बरामद हुई इस लड़की की खबर जैसे ही महोबा एसपी अर्पणा गुप्ता को मिली उन्होंने अधिकारियों के साथ घटना स्थल का दौरा किया। इसके बाद वे नौगांव में एसडीओपी चंचलेश मरकाम और थाना प्रभारी दीपक यादव के साथ लड़की का हालचाल जानने भी पहुंची। मीडिया से बात करते हुए एसपी अर्पणा गुप्ता ने सिर्फ इतना कहा कि इस मामले में जब तक लड़की से बात नहीं हो पा रही है तब तक कुछ भी कयास लगाना जल्दबाजी होगी। हमारा मकसद पहले लड़की का इलाज कराना है। इस मामले में विस्तृत जांच होगी और दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।

यूपी पुलिस को पता चलते ही एक टीम छतरपुर पहुंची और लड़की का हाल जाना।

यूपी पुलिस को पता चलते ही एक टीम छतरपुर पहुंची और लड़की का हाल जाना।

एफआईआर में यह लिखवाया
27 अप्रैल को जिला अस्पताल में भर्ती हरदाेई यूपी की रहने वाली लड़की ने पुलिस को शिकायत की। उसने संजय तिवारी, महेन्द्र तिवारी, बृजकिशोर तिवारी, मनीष शिवदयाल सभी निवासी खरौ टीकमगढ़ मौसाजी, महेश, दीदी संगीता और दो अन्य के खिलाफ गैंगरेप का केस दर्ज करवाया है। पीड़िता ने बताया कि महिला थाना के अपराध में नक्शा मौका तैयार कराने छतरपुर आई थी। अगले दिन सुबह करीब 9 बजे टीकमगढ़ चली गई थी, फिर शाम करीब 9 से 9.30 बजे वापस छतरपुर आ गई थी। यहां स्टेशन से बाहर जाते वक्त अपने घर पर फोन से बात करते हुए बाहर निकली कि झंडा जहां लगा है, उससे 20 कदम आगे पहुंची तो अजय तिवारी राजनगर से आकर मेरा फोन ले लिया। मैं उससे फोन लेने पीछे दौड़ी तो आगे अन्य लोग संजय तिवारी संजय के मौसाजी महेश संजय के भाई महेन्द्र व अन्य लोग मिले, जिन्होंने मुझे कार में बैठा लिया। महेन्द्र ड्राइव कर रहा था। ये लोग मुझे अलग-अलग जगह रखे रहे और मेरे साथ दो-तीन दिन गलत काम करते रहे। गलत काम संजय तिवारी मनीष तिवारी और महेन्द्र ने किया। फिर मुझे आज संजय के पिताजी बृजकिशोर तिवारी, चाचा शिवदयाल महेन्द्र व उनकी बड़ी बहन संगीता ब्लू कलर की कार से टोल टैक्स के पास पुतरया गांव के बाहर हाईवे रोड पर छोड़कर चले गए। 26 अप्रेल यानी आज सुबह करीब 3-4 बजे सुबह छोड़ कर गए थे। छोड़ने से पहले मुझे कोई सीसी में से बदबू वाली दवाई पिलाई थी। अंतिम बार कल रात में संजय तिवारी महेन्द्र और मनीष ने मेरे साथ बलात्कार किया था।

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