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- The Record Of The Case Was Not Sent To The High Court, After Reaching Bhopal, Indecency With The Staff
सागर33 मिनट पहले
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प्रतिकात्मक फोटो।
सागर के आबकारी अधिकारी सीपी सांवले को निलंबित कर दिया गया है। 30 अप्रैल को उनका रिटायरमेंट होने वाला था। रिटायरमेंट से 20 दिन पहले उन्हें एक काेर्ट केस में पेशी की जानकारी आबकारी आयुक्त काे नहीं देने पर निलंबित किया गया है। निलंबन अवधि में सांवले का मुख्यालय कार्यालय उपायुक्त आबकारी, संभागीय उड़नदस्ता सागर रहेगा। उन्हें नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ते की पात्रता होगी।
जानकारी के अनुसार उच्च न्यायालय जबलपुर में मदन कुमार नामदेव विरुद्ध मध्यप्रदेश शासन एवं अन्य के संबंध में दायर याचिका के संबंध में दिनांक 23 फरवरी को आदेश पारित किया गया था। उच्च न्यायालय के आदेश दिनांक 4 अप्रैल 2018 द्वारा चाहे गए अभिलेख प्रस्तुत न करने के कारण आबकारी आयुक्त पर 25 हजार की कॉस्ट लगाई गई। इस प्रकरण में सीपी सांवले प्रभारी अधिकारी थे और न्यायालय के समक्ष इस संबंध रिकॉर्ड प्रस्तुत करने का दायित्य उन पर था। उनकी लापरवाही के कारण आबकारी आयुक्त पर जुर्माना लगाने की स्थिति बनी। इसी प्रकरण में उच्च न्यायालय ने 15 मार्च 2023 को पारित आदेश में आबकारी आयुक्त को 18 अप्रैल को व्यक्तिगत रूप से न्यायालय में उपस्थित रहने के लिए आदेशित किया है।
स्टाफ से अभद्र व्यवहार किया
जिसकी जानकारी प्रकरण के प्रभारी अधिकारी सांवले ने आबकारी आयुक्त को नहीं दी। आबकारी आयुक्त को यह जानकारी अन्य स्त्रोतों से मिली है। सांवले 20 मार्च को बगैर यथोचित अनुमति प्राप्त किए मंत्रालय भोपाल पहुंचे। उनके अवकाश संबंधी प्रकरण के संबंध में प्रशासकीय विभाग के स्टाफ के साथ उन्होंने अभद्र व्यवहार किया। सांवले के इस कृत्य काे शासकीय कर्तव्यों के प्रति घोर लापरवाही एवं अनुशासनहीनता मानते हुए मप्र सिविल सेवा (वर्गीकरण नियंत्रण तथा अपील) नियम 1966 के नियम 9 के तहत तत्काल प्रभाव से निलंबित किया गया है।
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